हमने देखा चिड़िया को उसकी चोंच में कुछ तिनके थे
और पेड़ पर लटका था उसका अधूरा घोंसला।
चिड़िया गिनती नहीं जानती थी मगर
अपने अनगिनत सपनो को बुनकर तिनके संजो रही थी
इसलिये बरसों का हिसाब नहीं रखती थी
जब वह नई-नई पिंजरे में बंद हुई थी पर एक बात वह समझती हैं कि
आँगन में खूब धूप आती थी और दूर दिखाई देता था उसका पेड़।
और आज .......
चिड़िया के देखते ही देखते हर ओर बड़ी-बडी़ इमारतें खडी हो गई
जिनके पीछे उसका सूरज खो गया और खो गया वह पेड़ जिस पर
चिड़िया एक सपना बुन रही थी
चिड़िया की आँखों मे
रह-रह कर घूमता है
अपना वो ख्वाब और अधूरा घोंसला।
और पेड़ पर लटका था उसका अधूरा घोंसला।
चिड़िया गिनती नहीं जानती थी मगर
अपने अनगिनत सपनो को बुनकर तिनके संजो रही थी
इसलिये बरसों का हिसाब नहीं रखती थी
जब वह नई-नई पिंजरे में बंद हुई थी पर एक बात वह समझती हैं कि
आँगन में खूब धूप आती थी और दूर दिखाई देता था उसका पेड़।
और आज .......
चिड़िया के देखते ही देखते हर ओर बड़ी-बडी़ इमारतें खडी हो गई
जिनके पीछे उसका सूरज खो गया और खो गया वह पेड़ जिस पर
चिड़िया एक सपना बुन रही थी
चिड़िया की आँखों मे
रह-रह कर घूमता है
अपना वो ख्वाब और अधूरा घोंसला।
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